तुर्की के पड़ोस में है अजरबैजान और आर्मेनिया।यह दोनों देश पहले संयुक्त USSR के राज्य थे, बाद में स्वतंत्र देश बन गये।अजरबैजान और तुर्की में है मुस्लिम आबादी और आर्मेनिया में हैं ईसाई। जब औटोमन शासन में तुर्की का इस्लामीकरण हो रहा था तब सबसे ज्यादा विरोध आर्मेनियन ईसाइयों ने किया था। बाद में करीब एक लाख आर्मेनियन ईसाइयों का कत्लेआम कर दिया गया था और 50000 ईसाई महिलाओं का किया गया था शोषण।
आज तक तुर्की और आर्मेनिया में कोई कुटनीतिक संबंध नहीं है। आर्मेनिया ने मुसलमानों पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया और हालत ये है कि मात्र 1000 मुस्लिम समुदाय के लोग आर्मेनिया में हैं। करीब 20,000 हिंदू आर्मेनिया में हैं।अब यहीं से शुरू होता है मोदी का चमत्कार :आर्मेनिया से मोदी जी ने सैन्य समझौता किया। आकाश मिसाइल उन्हें दी है तथा ब्रह्मोस देने वाले हैं।तुर्की आर्मेनिया के निशाने पर है और हमारे सैनिक आर्मेनिया में मिसाइल टेस्ट कर रहे हैं...कुछ समझे ?