बहुत ही सुंदर लेख है, जरूर पढ़ें 🙏
एक छोटे से गाँव में सभी लोग एक-दूसरे को जानते थे। निश्चित समय अंतराल पर वे सभी एक-दूसरे से मिलते थे। किसी न किसी बहाने से एकत्र होने में ही उन्हें संतोष मिलता था। इसमें छोटी-बड़ी परिवारें, दोस्तों के ग्रुप और कुछ अकेले लोग भी शामिल थे।
एक मध्यम आयु वर्ग का अकेला व्यक्ति इन बैठकों का नियमित सदस्य था। हर सामूहिक कार्यक्रम में उसकी सक्रिय भागीदारी होती थी। उसकी उपस्थिति सभी के लिए आनंददायक होती थी।
लेकिन कुछ समय से, यह व्यक्ति, जो नियमित रूप से परिवार और समूह की बैठकों में आता था, बिना कोई सूचना दिए उनमें आना बंद कर चुका था।
उसकी अनुपस्थिति के कई हफ्ते बाद, गाँव के वृद्ध सरपंच ने उसके घर जाकर इसका कारण जानने का निश्चय किया।
एक सर्दियों की ठंडी शाम को, सरपंच उस व्यक्ति के घर पहुंचे। उस व्यक्ति ने आग जलाई हुई थी और ठंड से बचने के लिए वह अकेला शांत बैठा था।
उसने सरपंच का स्वागत किया, लेकिन दोनों के बीच ज्यादा बातचीत नहीं हुई। बस अभिवादन हुआ। उनके मौन संवाद के बीच शेकोटी में जलते लकड़ियों की आवाज ज्यादा सुनाई दे रही थी।
दोनों आग की लपटों को शांति से देख रहे थे।
कुछ मिनटों के बाद, सरपंच उठे। उन्होंने आग में जल रही एक बड़ी लकड़ी को निकालकर अलग रख दिया और वापस अपनी जगह पर बैठ गए।
वह व्यक्ति यह सब चुपचाप देख रहा था।
कुछ देर बाद, उस अलग रखी लकड़ी की लपटें बुझने लगीं। जब वह लकड़ी पूरी तरह से बुझ गई, तो वह काली और बेजान नजर आने लगी। जो लकड़ी कुछ समय पहले चमकदार और ऊर्जा से भरपूर थी, अब एक निर्जीव काले टुकड़े में बदल गई थी।
दोनों के बीच अब भी कोई बात नहीं हुई थी।
जाने से पहले, सरपंच ने उस बुझी हुई लकड़ी के टुकड़े को उठाकर फिर से आग के बीच में रख दिया।
तुरंत ही वह लकड़ी फिर से जलने लगी, तेज हो गई और चमकदार दिखने लगी।
जब सरपंच जाने लगे और दरवाजे तक पहुंचे, तो वह व्यक्ति बोला,
"आपके आने और इस सुंदर सीख के लिए धन्यवाद। मैं जल्द ही ग्रुप में लौटूंगा।"
हमारे जीवन में ग्रुप, समुदाय क्यों महत्वपूर्ण है?
क्योंकि जो सदस्य पीछे छूट जाता है, वह बाकी दोस्तों से ऊर्जा और तेज लेता है।
यह बहुत जरूरी है कि ग्रुप के सभी सदस्यों को यह एहसास हो कि वे सभी एक साथ एक ऊर्जा, एक लपट का हिस्सा हैं।
यह भी याद रखना और एक-दूसरे को प्रोत्साहित करना महत्वपूर्ण है कि हम सभी एक-दूसरे की रोशनी को तेज बनाए रखने के लिए जिम्मेदार हैं।
ग्रुप भी एक परिवार है।
कभी-कभी हम संदेशों, झगड़ों और गलतफहमियों से ऊब सकते हैं, लेकिन कोई बात नहीं।
आपस में जुड़े रहना जरूरी है।
हम यहां मिलने, संदेश देने, सीखने, विचारों का आदान-प्रदान करने और यह जानने के लिए हैं कि हममें से कोई भी अकेला नहीं है।बस अपने विवेक से ग्रुप का चयन करें और ग्रुप में आने वाली पोस्ट और नकारात्मक पठन पाठन सामग्री का जरूर तार्किक विरोध करे,जय भोले
चलो इस ज्योत को जीवित रखें।
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