कोई भी पूजन जब करवाया जाता है तो शुद्धिकरण का पूरा प्रोसेस होता है उसमें एक मंत्र के साथ जल छिड़काया जाता है जिसमें लगभग सभी लोगों को यह बताया जाता है या लगता है कि इस मंत्र से जल छिड़कने से हम पवित्र हो रहे हैं लेकिन उस मंत्र की वास्तविकता क्या है यह इस वीडियो से समझें औरअनुसरण करें
ॐ अपवित्रः पवित्रो वा सर्वावस्थां गतोऽपि वा । यः स्मरेत्पुण्डरीकाक्षं स बाह्याभ्यन्तरः शुचिः ॥
मंत्रों को समझना उनका अर्थ जानना अत्यंत महत्वपूर्ण है , लेकिन दुर्भाग्य की जब हिंदू मंत्र ही नहीं जानते, शास्त्र ही नही पढ़ते तो अर्थ कैसे जानेंगे और फिर कैसे होगा जीवन का कल्याण