अब ताइवान को भारत ने ब्रह्मोस देने के लिए ऑफर दे दी है, और जैसे ही यह खबर चीन तक पहुंची चीन की हालत खराब हो गई है। चीन ने बड़े सख्त लहजे में एतराज किया है और भारत के खिलाफ प्रोटेस्ट करते हुए कहा है कि इससे साउथ चीन एरिया में शांति भंग हो जाएगी।
कोई चीन से पूछे कि जब तुम पाकिस्तान को अपने हथियार यानि मिसाइल्स, टैंक और लड़ाकू जहाज आदि बेच रहे थे तो तब तुम्हें इस बात का ख्याल नहीं आया था कि मिडल ईस्ट एशिया में शांति भंग होगी❓
चीनियों के खाने के दांत अलग और दिखाने के दांत अलग हैं। अब इन दिखाने वाले दांतों को तोड़ने का मोदी पक्का इलाज कर रहा है।
लेकिन हमें डाउट है कि जो असली ब्रह्मोस है उसको भारत बेचेगा क्योंकि उसकी टेक्नोलॉजी भारत बाहर नहीं जाने देगा हां जो ताइवान को देगा वह भी अच्छी में से अच्छी होगी लेकिन जो ओरिजिनल है उसका तो जवाब किसी के पास नहीं है