वर्तमान समय में आप चाहे गांव में हो या शहर में हो अगर आप हमारे हिंदुओ के घर-घर सर्वे करने को निकलोगे की किस घर में कितने बच्चे हैं और वह क्या करना चाहते हैं तो आपको हर घर में एक या दो बच्चे मिलेंगे जो सरकारी नौकरी की तैयारी करते हुए मिलेंगे
चाहे लड़का हो या लड़की हो गवर्नमेंट जॉब की तैयारी करते हुए मिलेगी और घर वाले भी पूरी कोशिश करते हैं कि वह किसी तरह सरकारी नौकरी लग जाए
चाहे बच्चों के माता-पिता हो चाहे बच्चे खुद हो वह किसी भी तरह सरकारी नौकरी करना चाहते हैं दूसरे काम की तरफ उनका ध्यान ही नहीं है
और आप आए दिन अखबारों में पढ़ते भी रहते होगे की हर जगह पेपर लीक हो रहे हैं कि किसी तरह साम दाम दंड भेद करके सरकारी नौकरी प्राप्त कर ले उसके बाद में सारी जिंदगी आराम ही आराम है गवर्नमेंट की अच्छी सैलरी मिलेगी और जितना काम प्राइवेट क्षेत्र में करना पड़ता है उससे चौथा हिस्सा भी नहीं करना पड़ेगा यह बात हर बच्चे के दिमाग में है
खुद का कोई काम या प्राइवेट क्षेत्र की ओर तब तक नहीं सोचते कि जब तक सरकारी नौकरी उनकी पहुंच से बाहर हो जाए लेकिन तब तक उनकी आयु निकल चुकी होती है काम करने की आयु होती है 20 ,22 वर्ष लास्ट 25 वर्ष कार्य करने की सही उम्र होती है
उसके बाद में अगर कोई बंदा यह कहे कि मैं काम कर लूंगा तो गलत है कुछ नहीं करेगा 30 वर्ष का बच्चा जो कि अब तक सरकारी नौकरी की तैयारी कर रहा था सरकारी नौकरी उसे मिली नहीं और उम्र 30 साल हो गई तो समझ लो वह फिर किसी काम का नहीं है फिर वह घर पर और समाज पर बोझ के समान ही होता है
इसलिए वर्तमान में जिनको सरकारी नौकरी मिल गई हो तो ठीक है लेकिन जिन को नहीं मिली और आयु 30 साल के आसपास हैं अब आपको निठले घूमते हुए मिलेंगे
और सरकारी नौकरी भागने के पीछे दो कारण है पहला कारण है अच्छा वेतन और दूसरा कारण है कम कार्य
बस इसी से हमारा समाज पीछे की ओर जा रहा है
कोई खुद का काम करना ही नहीं चाहता
सरकारी नौकरी आखिर कितने लोगों को मिलेगी और सरकार चाहे किसी भी पार्टी की हो वह भी ज्यादा से ज्यादा प्राइवेटाइजेशन करने की कोशिश कर रहे हैं हर क्षेत्र में क्योंकि सरकार भी समझती है कि इतने कर्मचारियों की सैलरी कहां से देंगे और हड़ताल पर भी चले जाते हैं
इसलिए हाई एजुकेटेड बेरोजगार युवक एक बात गांठ बांध लें।
6 महीने में आप बाइक के मैकेनिक बन सकते हो।
6 महीने में आप कार के मैकेनिक बन सकते हो।
6 महीने में आप साइकिल के मकैनिक बन सकते हो।
6 महीने में आप मधुमक्खी पालन सीख सकते हो।
6 महीने में आप दर्जी का काम सिख सकते हो।
6 महीने में आप डेयरी फार्मिंग सीख सकते हो।
6 महीने में आप हलवाई का काम सीख सकते हो।
6 महीने में आप घर की इलेक्ट्रिक वायरिंग सीख सकते हो।
6 महीने में आप घर का प्लंबर का कार्य सीख सकते हो।
6 महीने में आप मोबाइल रिपेयरिंग सीख सकते हो।
6 महीने में आप जूते बनाना सीख सकते हो।
6 महीने में आप दरवाजे बनाना सीख सकते हो।
6 महीने में आप वेल्डिंग का काम सीख सकते हो।
6 महीने में आप मिट्टी के बर्तन बनाना सीख सकते हो।
6 महीने में आप घर की चिनाई करना सीख सकते हैं।
6 महीने में आप योगासन सीख सकते हो।
6 महीने में आप मशरूम की खेती का काम सीख सकते हो।
6 महीने में आप बाल काटने सीख सकते हो।
6 महीने में आप बहुत से काम ऐसे सीख सकते हो जो आपके परिवार को भूखा नहीं सोने देगा।
आज भारत में सबसे अधिक दुखी वह लोग हैं जो बहुत अधिक पढ़ लिखकर बेरोजगार हैं।
जो शिक्षा आप को रोजगार न दे सके वह शिक्षा किसी काम की नहीं।
रोजगार के लिए आपका अधिक पढ़ा लिखा होना कोई मायने नहीं।
भारत में 90% रोजगार वे लोग कर रहे हैं जो ज्यादा पढ़े लिखे नहीं हैं।
10% रोजगार पाने के लिए पढ़े लिखे लोगों में मारामारी है।।
और पढ़े-लिखे बेरोजगारों एक बात और जिनको आप छोटे-छोटे काम कहते हो ना ऐसे कामो से लोग महिने में ₹50 हजार से लेकर लाख रुपए तक कमाते हैं
स्वंय विचार करें।