Karnataka में कांग्रेस की सत्ता आ गई और सत्ता में आते ही कई तरफ से कांग्रेस से कई मांगे की जाने लगी, जिसमे मानवाधिकार के नाम पर भारत के विरुद्ध प्रोपोगेंडा फैलाने वाले एमनेस्टी इंटरनेशनल नामक NGO की मांगें हैं
हिजाब से प्रतिबंध हटाओ, धर्मांतरण विरोधी कानून और गौहत्या प्रतिबंध हटाओ
इसपर अब खड़गे पुत्र ने संकेत दिए हैं
एमनेस्टी इंडिया ने अपनी पहली मांग में शिक्षा संस्थानों में महिलाओं के हिजाब पहनने पर लगे प्रतिबंध को हटाने की बात कही इसके अलावा पशु क्रूरता अधिनियम 2020 और कर्नाटक धार्मिक स्वतंत्रता अधिकार संरक्षण विधेयक 2022 के प्रावधानों की समीक्षा करने की और उन्हें निरस्त करने के लिए कहा। सीधे शब्दों में कहें तो है मिनिस्ट्री इंडिया ने कर्नाटक में गौ हत्या की अनुमति और हिंदू विरोधी तत्वों को राज्य में धर्मांतरण रैकेट चलाने की मांग की है।
इसके अलावा एमनेस्टी इंडिया ने कहा कि "राज्य में चुनाव के पहले मुस्लिम के आर्थिक बहिष्कार और उनके खिलाफ हिंसा का आवाहन किया गया था धर्म जाति आधारित भेदभाव से प्रेरित घृणा और घृणित अपराधों को समाप्त करने के लिए जवाबदेही सुनिश्चित करें" ध्यान दिया जाए तो ऐसी कई रिपोर्टें आई जिसमें मुस्लिमों ने हिंदू व्यवसाय का बहिष्कार करने का आवाहन किया लेकिन एमनेस्टी ने इसे कभी भी घृणित नहीं कहा।
कर्नाटक के राज्य मंत्री प्रियांक खड़गे ने कहा हम अपने रुख को लेकर बहुत स्पष्ट हैं हम ऐसे किसी भी कार्यकारी आदेश की समीक्षा करेंगे हम किसी भी विधेयक की समीक्षा करेंगे जो कर्नाटक की आर्थिक नीतियों के प्रतिकूल है जो राज्य की छवि खराब करता है। कोई भी विधेयक जो आर्थिक गतिविधियों के लिए उपयोग नहीं किया जाता है, कोई भी विधेयक जो रोजगार प्रदान नहीं करता है, कोई भी विधेयक जो किसी व्यक्ति के अधिकारों का उल्लंघन करता है कोई भी विधायक जो असंवैधानिक है उसकी समीक्षा की जाएगी और यदि आवश्यक हुआ तो उसे रद्द किया जाएगा।
प्रियंक खरगे ने r.s.s. बजरंग दल पर प्रतिबंध को लेकर कहा कोई भी संगठन धार्मिक राजनीतिक या सामाजिक असंतोष और वह मनुष्य के बीज बोने जा रहा है उसे कर्नाटक में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा हम कानूनी और संवैधानिक रूप से उन से निकलेंगे चाहे वह बजरंग दल हो पीएफआई हो या अन्य कोई संगठन हो हम उन्हें प्रतिबंधित करने में संकोच नहीं करेंगे यदि वे कर्नाटक में कानून और व्यवस्था के लिए खतरा बनेंगे
वैसे कर्नाटक में चुनाव के पहले ही कांग्रेस ने अपने घोषणा पत्र में बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने की बात कर दी थी